• May 5, 2024 1:12 pm

पूर्व आईएएस वीके पांडियन क्या बनेंगे नवीन पटनायक के उत्तराधिकारी?

अक्टूबर 28 2023 ! आइए जानते हैं कि तमिलनाडु के रहने वाले पांडियन पर ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक इतना भरोसा क्यों करते हैं और उनकी पृष्ठभूमि क्या है?

2000 बैच के ओडिशा कैडर के आईएएस अधिकारी वी. कार्तिकेयन पांडियन के स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (वीआरएस) की ख़बर बीते सोमवार को सामने आई.

इसके अगले ही दिन, मंगलवार को, उन्हें मॉडर्न ओडिशा एंड ट्रांसफॉर्मेशनल इनिशिएटिव का प्रमुख नियुक्त किया गया. यह पद कैबिनेट मंत्री के स्तर का है.

मॉडर्न ओडिशा एंड ट्रांसफॉर्मेशनल इनिशिएटिव को 5T के नाम से भी जाना जाता है. इसमें 5T हैं- टीम वर्क, टेक्नोलॉजी, ट्रांसपेरेंसी, ट्रांसफॉर्मेशन और टाइम. ओडिशा सरकार राज्य में सरकारी योजनाओं का मूल्यांकन इनके आधार पर ही कर रही है.

‘आम ओडिशा, नवीन ओडिशा’ नाम की परियोजना का लक्ष्य बुनियादी ढांचे में सुधार और विकास में तेज़ी लाकर ग्रामीण क्षेत्रों में बदलाव लाना है.

साल 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले ‘आम गाँ, आम विकास’ नाम की योजना शुरू की गई थी. इसके तहत प्रत्येक ग्राम पंचायत पर 50 लाख रुपये खर्च किए जाएंगे.

वी. कार्तिकेयन पांडियन को अभी इन दोनों परियोजनाओं का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है.

ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के निजी सचिव वी. कार्तिकेयन पांडियन को राज्य सरकार में सबसे शक्तिशाली व्यक्ति माना जाता था.

ओडिशा सरकार में कोई भी महत्वपूर्ण फैसला उनकी सहमति के बिना नहीं लिया जाता था. आइए जानते हैं कि इतने शक्तिशाली व्यक्ति वी. कार्तिकेयन पांडियन की पृष्ठभूमि क्या है?

वी कार्तिकेयन पांडियन का जन्म 1974 में मदुरै ज़िले के मेलूर के पास कूथप्पनपट्टी में हुआ था. उन्होंने अपनी प्राथमिक शिक्षा अलगर मंदिर के पास वेल्लापट्टी गवर्नमेंट स्कूल में पूरी की. इसके बाद उन्होंने नेवेली के एक स्पोर्ट्स स्कूल में भी पढ़ाई की. इस दौरान उन्होंने एथलेटिक्स में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया.

उन्होंने कृषि महाविद्यालय, मदुरै से कृषि विज्ञान में स्नातक और भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान से स्नातकोत्तर की पढ़ाई की.

साल 2000 में उनका चयन भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) में हुआ. उन्हें ओडिशा कैडर मिला. उन्होंने आईएएस अधिकारी सुजाता राउत के साथ शादी की.

उनकी पहली नियुक्ति ओडिशा के कालाहांडी ज़िले के धरमगढ़ में डिप्टी कलेक्टर के रूप में हुई. धरमगढ़ के डिप्टी कलेक्टर के रूप में उन्होंने किसानों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) सुनिश्चित किया और धान की खरीद को नियमित किया. उनके इस काम ने सरकार का ध्यान खींचा.

वी. कार्तिकेयन पांडियन 2005 से 2007 तक मयूरभंज और 2007 से 2011 तक गंजाम ज़िले में तैनात रहे.

मयूरभंज ओडिशा का सबसे बड़ा ज़िला है. वहां तैनाती के दौरान विकास परियोजनाओं का जायज़ा लेने के लिए उन्होंने ज़िले के दूर-दराज़ के गांवों की यात्रा की. उन्होंने विकास योजनाओं के कार्यान्वयन में तेज़ी लाने में मदद की.

  सोर्स :-“BBC  न्यूज़ हिंदी”                                  

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