• May 6, 2024 5:48 am

कानपुर के रेलवे कर्मियों को मिलेगा उम्मीद कार्ड, देशभर के अधिकृत अस्पतालों में करवा सकेंगे इलाज

07 अगस्त 2022 | रेलवे में सेवारत या फिर सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए आजादी के अमृत महोत्सव पर नायाब तोहफा है। अब कानपुर के रेल कर्मी देश भर में विभाग के अधिकृत अस्पतालों में अपना इलाज करा सकेंगे। इसके लिए उन्हें न तो लोको अस्पताल के डाक्टरों के रेफर की जरूरत होगी और न ही जिले भीतर ही इलाज कराने की बाध्यता होगी। सेंट्रल स्टेशन पर शनिवार को कैंप लगा सेवानिवृत्त कर्मचारियों को उम्मीद कार्ड बनाने के आवेदन लिए गए।

मंडल के पीआरओ अमित सिंह ने बताया कि उम्मीद कार्ड में एक यूनिक नंबर आवंटित होता है। इस यूनिक नंबर को अंकित करते ही सेवारत औऱ रिटायर रेल कर्मचारी की पूरी जन्मकुंडली यानी कि सेवा से संबंधित सारी जानकारी आ जाएगी। यह यूनिक नंबर दिव्यांगता कार्ड की तरह होगा। इसमें किसी तरह के सत्यापन की जरूरत नहीं पड़ेगी। इसी वजह से कोई कर्मचारी देश के किसी कोने में अपना इलाज इस कार्ड के जरिए करा सकेगा।

अभी तक कर्मचारियों को दूसरी जगह या प्राइवेट अस्पतालों में भर्ती होने के लिए रेलवे डाक्टरों के चक्कर काटने पड़ते थे। कैंप में दो सौ से अधिक उम्मीद कार्ड और पेंशन रिवीजन के मामले आए। इनका निस्तारण भी कर दिया गया। रेलवे के कई बड़े अस्पताल हैं जहां जटिल रोगों का अच्छा इलाज होता है लेकिन, मंडल से बाहर के अस्पताल में सामान्य तौर पर रेलकर्मियों को आसानी से उपचार हासिल नहीं हो पाता।

जटिल रोगों के इलाज के लिए अगर बाहर जाने पर उनको लंबी औपचारिकताएं पूरी करनी होती है। इस वजह से रेल कर्मी अच्छे अस्पतालों की सुविधाओं से वंचित रह जाते हैं। इसको देखते हुए रेलवे बोर्ड के निर्देश पर एचआईएमएस सिस्टम विकसित किया जा रहा है। इसके माध्यम से सभी रेल अस्पताल एक ग्रिड से जोड़े जाएंगे। इसमें सभी मरीजों का रिकार्ड ऑनलाइन माध्यम से दर्ज होगा। मरीज को डॉक्टरों का पर्चा भी साथ लेकर घूमने की जरूरत नहीं। अपने रजिस्ट्रेशन नंबर की बदौलत वह किसी रेल अस्पताल के डॉक्टर से परामर्श हासिल कर सकेंगे।

सोर्स :- “हिंदुस्तान न्यूज़ “

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