• May 15, 2024 5:24 pm

औसत से पांच डिग्री अधिक तापमान गेहूं के उत्पादन को करेगा प्रभावित, विशेषज्ञों ने जताई चिंता

23 फ़रवरी 2023 | जलवायु परिवर्तन गेहूं की फसल को प्रत्यक्ष तौर पर प्रभावित करने लगी है। पिछले साल मार्च में अचानक बढ़े तापमान से उपज कम हो गई थी। इस बार फरवरी में ही अप्रैल जैसी गर्मी ने वैज्ञानिकों को चिंता में डाल दिया है। अगर एक सप्ताह तक इसी तरह औसत तापमान 30 डिग्री से ऊपर बना रहा, तो उपज फिर प्रभावित होगी। विशेषज्ञों का कहना है कि अब फरवरी-मार्च में अधिक तापमान सहन करने वाली किस्में विकसित करनी होगी

कृषि क्षेत्र में तमाम तकनीकी विकास के बावजूद कृषि पर मौसम का प्रभाव अत्यधिक है। जिले में 2.17 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में गेहूं और 86 हजार हेक्टेयर क्षेत्रफल में सरसों की बिजाई हुई है। जनवरी में पाले के कारण सरसों की फसल बर्बाद हो गई। किसानों की पूरी उम्मीद गेहूं पर ही टिकी है।

सब कुछ अपेक्षा के अनुरूप ही था, लेकिन मध्य फरवरी में अचानक से तापमान 34 डिग्री के ऊपर पहुंच गया। 15 फरवरी से 22 फरवरी के बीच हर दिन तापमान में वृद्धि हुई। हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के (एचएयू) के गेहूं विशेषज्ञ डॉ. ओपी बिश्नोई बताते हैं कि गेहूं की अच्छी उपज के लिए फरवरी में अधिकतम तापमान 25-26 डिग्री के बीच होना चाहिए, लेकिन तापमान 35 डिग्री के पास पहुंच गया। इससे गेहूं के दाने बनने की प्रक्रिया प्रभावित होगी।

पिछले साल प्रति हेक्टेयर पांच क्विंटल की आई थी कमी
कृषि विभाग के उपनिदेशक विनोद कुमार फोगाट व कृषि अधिकारी प्रवीण कुमार मंडल ने बताया कि वर्ष 2021 में औसत उपज 52 क्विंटल प्रति हेक्टेयर था। वर्ष 2022 में अचानक बढ़े तापमान के चलते औसत उपज में करीब पांच क्विंटल प्रति हेक्टेयर की कमी आई और 47 क्विंटल प्रति हेक्टेयर रिकार्ड किया गया। गेहूं के दानों के पकने के लिए मार्च के प्रथम सप्ताह में तापमान 15 से 25 डिग्री के आसपास होना चाहिए। फरवरी में ही तापमान 30 डिग्री से ऊपर पहुंच गया है, जिसका नुकसान गेहूं की फसल को हो सकता है।

अधिक गर्मी सहन करने वाली प्रजाति चाहिए : डॉ. आरके बहल
एचएयू के कृषि महाविद्यालय के पूर्व डीन व अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गेहूं की नई-नई प्रजातियों की खोज करने वाले विशेषज्ञ डॉ. आरके बहल का कहना है कि फरवरी-मार्च का औसत तापमान गेहूं की वर्तमान प्रजातियों के अनुकूल नहीं है। अचानक बढ़े तापमान की वजह से उपज प्रभावित हो रही है। इसलिए अब वैज्ञानिकों को ऐसी प्रजातियों का विकास करना होगा, जो मौसम में अचानक हो रहे इस बदलाव को सहन कर सके।

तापमान वृद्धि (वर्ष 2022)
तारीख        अधिकतम       न्यूनतम
 

  • 15 फरवरी          26.6            7.3
  • 16 फरवरी          26.9            8.6
  • 17 फरवरी          25.2            7.6
  • 18 फरवरी          27               8.3
  • 19 फरवरी          26               6.8
  • 20 फरवरी          24.8            8.7
  • 21 फरवरी          25               9.2
  • 22 फरवरी          27.1            9

तापमान वृद्धि (वर्ष 2023)

  • 16 फरवरी          25               7.1
  • 17 फरवरी          26.8            9.7
  • 18 फरवरी          28                12
  • 19 फरवरी          28                9.8
  • 20 फरवरी          30.2             9.5
  • 21 फरवरी          34.5             13.2
  • 22 फरवरी          28.3             14.7
सोर्स :-“अमर उजाला ”                         

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