18 नवम्बर 2021 | वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग के निर्देश लागू करने के लिए हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने 11 विभागों को पत्र लिखा है। इसमें एनसीआर के जिलों में 50 फीसदी स्टाफ के लिए वर्क फ्रॉम होम 21 नवंबर तक लागू करने की कार्ययोजना बनाने को कहा है। यही आदेश निजी संस्थानों को भी लागू कराने होंगे। वहीं मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार प्रदूषण से अभी राहत मिलने की उम्मीद नहीं है। प्रदूषण का स्तर ज्यादा रहने से कई तरह की बीमारियां हो सकती हैं।
स्कूल-कॉलेज और शिक्षण संस्थानों को अगले आदेश तक बंद रखने के लिए कहा गया है। प्रदूषण फैलाने वालों पर भारी जुर्माना लगाने के निर्देश दिए हैं। सड़कों की सफाई आधुनिक मशीनों से करानी होगी। प्रदूषण कम करने के लिए सड़कों पर पानी छिड़काव करना होगा। दिल्ली के 300 किलोमीटर में आने वाले हरियाणा के नेशनल थर्मल पावर कॉरपोरेशन झज्जर, महात्मा गांधी टीपीएस सीएलपी झज्जर प्लांट ही 30 नवंबर तक चलेंगे। गैस आधारित इंडस्ट्री ही एनसीआर में चलेगी।
एनसीआर के 14 जिलों में 10 वर्षीय डीजल, 15 वर्षीय पेट्रोल वाहनों पर प्रतिबंध
बढ़ते प्रदूषण के कारण एनसीआर में आने वाले हरियाणा के 14 जिलों में पुराने वाहनों के चलने पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। अब डीजल के 10 वर्ष और पेट्रोल के 15 वर्ष पुराने वाहन अब सड़क पर चलते मिले तो तुरंत इंपाउंड कर दिया जाएगा। परिवहन आयुक्त ने डीटीओ और पुलिस आदेश जारी करते हुए करनाल, पानीपत, सोनीपत, गुरुग्राम फरीदाबाद, पलवल, नूंह, रेवाड़ी, महेंद्रगढ़, चरखी दादरी, भिवानी, जींद, रोहतक और झज्जर में सख्ती बरतने को कहा है।
101 जगह जली पराली, फतेहाबाद अव्वल
प्रदेश में किसानों द्वारा पराली जलाने का सिलसिला बदस्तूर जारी है। हरसैक के आंकड़ों के मुताबिक बुधवार को भी प्रदेश में 101 जगह पर पराली जलाई गई। सबसे ज्यादा फतेहाबाद जिले में 23 जगहों पर पराली जलाने की घटनाएं सामने आईं। इसके बाद हिसार जिले का नंबर रहा। यहां 21 जगहों पर पराली में आग लगाई गई।
पराली जलाने का आंकड़ा
- जिला घटना
- फतेहाबाद 23
- हिसार 21
- जींद 17
- सोनीपत 15
- सिरसा 12
- पानीपत 04
- करनाल 02
- भिवानी 02
- झज्जर 02
- रोहतक 02
- अंबाला 01
Source :-“अमर उजाला”