• May 7, 2024 4:06 am

ऊना, हमीरपुर और बद्दी-बरोटीवाला को नगर निगम बनाने की तैयारी

30  दिसंबर 2022 | ऊना, हमीरपुर और बद्दी-बरोटीवाला को नगर निगम बनाने पर राज्य सरकार विचार कर रही है। बशर्ते, ये शहर सभी आवश्यक मापदंडों को पूरा करते हों। सीएम सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने कहा कि इससे न केवल अनियोजित निर्माण रुकेगा बल्कि इन तेजी से उभरते शहरों का नियोजित विकास भी सुनिश्चित होगा।

उन्होंने कहा कि अधिकारियों को इन क्षेत्रों का नियोजित विकास सुनिश्चित करने के साथ पार्किंग और चिल्ड्रन पार्क के निर्माण पर विशेष ध्यान देना चाहिए। सीएम ने वीरवार को शिमला में शहरी विकास, नगर एवं ग्राम योजना और नगर निगमों की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की। उन्होंने  अधिकारियों को विशेष रूप से शिमला शहर में झुग्गी में रहने वालों को आवास की बेहतर सुविधा उपलब्ध करवाने के लिए ठोस योजना बनाने के निर्देश दिए।

उन्होंने कहा कि सभी नगर पालिकाओं को आत्मनिर्भर बनाने के प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होंने कहा कि इसके लिए आय के स्रोत सृजित करने के प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होंने अधिकारियों को शहरी स्थानीय निकायों को और अधिक आत्मनिर्भर बनाने के लिए संपत्ति कर में उचित सुधार लाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि शहर को सर्विस वायर्ज के जाल से मुक्त करने के लिए शिमला शहर में सर्विस डक्ट की व्यवस्था की जाएगी।

टेंडर की प्रक्रिया 20 दिन के भीतर की जानी चाहिए पूरी  
मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने लोक निर्माण विभाग की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि नाबार्ड सहित राज्य के सभी कार्यों के लिए निविदाएं आमंत्रित करने और प्रक्रिया पूर्ण करने के लिए ऑनलाइन प्रकाशन के लिए समय सीमा सात दिन निर्धारित की जाए।

उन्होंने कहा कि टेंडर की प्रक्रिया 20 दिन के भीतर पूरी की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि इससे सभी विकास कार्यों का निर्माण समयबद्ध सुनिश्चित होगा। टेेंडर निकालने से पहले डीपीआर तैयार की जानी चाहिए। किसी भी प्रकार की देरी के लिए संबंधित अधिकारी को जिम्मेदार ठहराया जाएगा और दोषी अधिकारी के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

लोगों की बगल में बैठकर समस्याएं सुन रहे हैं सुक्खू
मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू लोगों के बीच जाकर बगल की सीट पर बैठकर लोगों से मुलाकात करते रहे। सीएम सुक्खू ने सामने की कुर्सी पर बैठने के बजाय प्रतीक्षा कक्ष में लोगों से मिलने की यह नई पहल की है। वह बारी-बारी से सबकी बातें सुनते रहे। लोग अपनी-अपनी समस्याएं लेकर सचिवालय में प्रतीक्षा कक्ष में पहुंचे। लोगों से मिलने का यह सिलसिला देर रात नौ बजे भी चल रहा था।सोर्स :-“अमर उजाला

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