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North Korea ने फिर से किया बैलिस्टिक मिसाइलों का परीक्षण-450 किलोमीटर समुद्र में गिरीं

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Mar 26, 2021
North Korea ने फिर से किया बैलिस्टिक मिसाइलों का परीक्षण-450 किलोमीटर समुद्र में गिरीं

उत्तर कोरिया ने अमेरिका में राष्ट्रपति जो बाइडेन (Joe Biden) के पदभार संभालने के बाद गुरुवार को पहली बार बैलिस्टिक मिसाइलों (Ballistic Missiles) का परीक्षण किया. उत्तर कोरिया का यह कदम अमेरिका के साथ कूटनीति में आए गतिरोध के बीच जो बाइडेन प्रशासन पर दबाव बनाने और अपनी सैन्य क्षमताओं को बढ़ाने के लिए फिर से परीक्षण शुरू करने की ओर संकेत करता है. जापान के प्रधानमंत्री योशिहिदे सुगा (Yoshihide Suga) ने कहा कि ‘यह परीक्षण ‘जापान और क्षेत्र में शांति एवं सुरक्षा’ के लिए खतरा है और टोक्यो ,उत्तर कोरिया की गतिविधियों पर अमेरिका और दक्षिण कोरिया के साथ करीबी समन्वय बनाए रखेगा.’

450 किलोमीटर के यात्रा के बाद समुद्र में गिरीं मिसाइलें
दक्षिण कोरिया के ज्वाइंट चीफ ऑफ स्टाफ ने कहा उत्तर कोरिया के पूर्वी तट पर सुबह करीब सात बजकर छह मिनट और सात बजकर 25 मिनट पर मिसाइलें दागी गईं. मिसाइलों ने समुद्र में गिरने से पहले 450 किलोमीटर की यात्रा तय की. अमेरिका हिंद-प्रशांत कमान के प्रवक्ता कैप्टन माइक काफ्का ने कहा कि अमेरिकी सेना को मिसाइलों के बारे में जानकारी है और वह सहयोगियों के साथ करीबी परामर्श करते हुए स्थिति पर नजर रख रही है. काफ्का ने कहा, ‘यह गतिविधि दिखाती है कि उत्तर कोरिया के अवैध हथियार कार्यक्रम से उसके पड़ोसियों और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को खतरा है.’

मिसाइल परीक्षण के जरिए अमेरिका का आजमाता है उत्तर कोरिया
यह मिसाइलें ऐसे समय में दागी गई हैं, जब एक दिन पहले अमेरिका और दक्षिण कोरिया के अधिकारियों ने कहा कि उत्तर कोरिया ने इस सप्ताह के अंत में कम दूरी की मिसाइलों का परीक्षण किया, जिसे क्रूज मिसाइलें माना जा रहा है. उत्तर कोरिया का अमेरिका के नए प्रशासन को मिसाइल परीक्षणों के जरिए आजमाने का इतिहास रहा है. अभी यह स्पष्ट नहीं है कि आगामी हफ्तों में उत्तर कोरिया पर अपनी नीति की समीक्षा पूरी करने से पहले बाइडेन प्रशासन इस पर क्या प्रतिक्रिया देगा.

अमेरिका से गतिरोध के बीच किए परीक्षण
अमेरिका के साथ परमाणु वार्ता में गतिरोध पैदा होने के बीच उत्तर कोरिया ने यह परीक्षण किए हैं. उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग उन (Kim Jong-un) की अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ फरवरी 2019 में दूसरी शिखर वार्ता नाकाम होने के बाद गतिरोध पैदा हुआ. उस वार्ता में अमेरिका ने उत्तर कोरिया की उस मांग को खारिज कर दिया था, जिसमें उसने अपने परमाणु कार्यक्रम को आंशिक रूप से बंद करने के बदले में उस पर लगाए प्रमुख प्रतिबंधों को हटाने के लिए कहा था.

उत्तर कोरिया ने अमेरिका की कोशिशों को किया नजरअंदाज
उत्तर कोरिया ने अभी तक बाइडन प्रशासन की बातचीत की कोशिशों को नजरअंदाज किया है. किम की बहन ने पिछले हफ्ते दक्षिण कोरिया के साथ संयुक्त सैन्य अभ्यासों को लेकर अमेरिका को धमकाया था. उन्होंने इन अभ्यासों को घुसपैठ का पूर्वाभ्यास बताया और वॉशिंगटन को चेतावनी दी कि ‘अगर वह अगले चार साल शांति से सोना चाहता है तो गड़बड़ी पैदा करने से दूर रहे.’ दक्षिण कोरिया के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि रविवार को उत्तर कोरिया द्वारा किया गया कम दूरी की मिसाइलों का परीक्षण अप्रैल 2020 के बाद से उसका पहला मिसाइल परीक्षण है. बाइडन ने इसे खास तवज्जो न देते हुए कहा कि इसमें कुछ भी नया नहीं है.

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