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1 अप्रैल से बदल जाएगा वाहनों से जुड़ा ये नियम, सरकार जल्द कर सकती है ऐलान

ByPrompt Times

Mar 5, 2021
1 अप्रैल से बदल जाएगा वाहनों से जुड़ा ये नियम, सरकार जल्द कर सकती है ऐलान

सरकार की तरफ से सभी कार बनाने वाली कंपनियों को कार की फ्रंट सीट के लिए एयरबैग्स को अनिवार्य करने का आदेश जारी किया गया है. सड़क एवं परिवहन मंत्रालय ने इस प्रस्ताव को आगे बढ़ाते हुए ड्राइवर के बगल में एक वाहन के सामने की सीट पर बैठे यात्री के लिए एयरबैग देना अनिवार्य कर दिया है. माना जा रहा है कि ये प्रस्ताव जल्द लागू किया जाएगा.

भारत सरकार की तरफ से भी इस बात को स्‍पष्‍ट किया जा चुका है कि किसी भी कीमत पर सुरक्षा उपायों के साथ कोई समझौता नहीं किया जाएगा. नए नियमको लेकर मंत्रालय की वेबसाइट पर एक ड्राफ्ट नोटिफिकेशन जारी किया जा चुका है. भारत में इस प्रस्ताव को नई कारों पर लागू करने के लिए 1 अप्रैल 2021 और मौजूदा कारों के लिए 31 अगस्त 2021 तक की समय सीमा तय की गई है.

सुरक्षा के लिहाज से जरूरी है एयरबैग

एयरबैग किसी भी गाड़ी के लिए जिंदगी बचाने वाला फीचर है जहां अब इसे तकरीबन हर कार में दिया जा रहा है. ऑटोमोटिव इंडस्ट्री स्टैंडर्ड के अनुसार ड्राइव साइड एयरबैग हर कंपनी को देना जरूरी है. ड्राइवर और उसके बगल वाली सीट दोनों पर एयरबैग होने से किसी दुर्घटना की स्थिति में होने वाले नुकसान को कम किया जा सकता है. दरअसल, दुर्घटना की स्थिति में एयरबैग कुछ सेकेंड के अंदर खुल जाता है और​ सिर और चेहरे में गंभीर चोट लगने से बचा लेता है. ऐसे में मौत की संभावना कम होती है.

अभी क्या है नियम

गौरतलब है कि कार में ड्राइवर की तरफ वाले हिस्‍से में एयरबैग को 1 जुलाई 2019 से अनिवार्य किया जा चुका है. वर्तमान में जो प्रावधान है उसमें सिंगल एयरबैग को अनिवार्य किया गया है लेकिन इतने सुरक्षा इंतजाम काफी नहीं हैं. विशेषज्ञों के मुताबिक आगे की सीट पर बैठे सहयात्री पर भी गंभीर रूप से घायल होने या फिर हादसे में मौत का खतरा बना रहता है.

स्‍पीड अलर्ट, रिवर्स पार्किंग सेंसर्स और सीट बेल्‍ट जैसे उपाय जहां पर कम कीमतों पर सुरक्षा को सुनिश्चित किया जा सकता है, गाड़‍ियों में मानक के तौर पर है लेकिन आगे की सीट पर संवेदनशील सुरक्षा उपाय जैसे एयरबैग को अभी तक अनिवार्य नहीं किया गया था. एआईएस में संशोधन और प्रस्‍तावित चाइल्‍ड लॉक सिस्‍टम को सभी चार-पहिया वाहनों में लागू नहीं किया जा सकता है. ये सिस्‍टम हालांकि अभी व्‍यावसायिक वाहनों में प्रयोग होता है.

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