• May 23, 2024 10:37 pm

वो राजकुमारी जो बदल रही सऊदी की तस्वीर, अरब महिलाओं की मिसाल

  नवंबर 2 2023 ! सऊदी अरब इन दिनों जश्न के माहौल में डूबा है. खाड़ी के इस देश की हर मोर्चे पर शीर्ष पर रहने की कोशिश रहती है. यही वजह है कि सऊदी में खेल गतिविधियां अन्य खाड़ी मुल्कों की तुलना में कहीं ज्यादा है. यह और ज्यादा प्रभावी तब हो जाता है जब खेल की दुनिया में सऊदी की राजकुमारी का नाम सामने आता है. जी हां, सऊदी में खेल की बढ़ती गतिविधियों में एक बड़ा योगदान राजकुमारी रीमा बिन्त बंदर अल-सऊद का है.

सऊदी शाही परिवार के सदस्य के रूप में, राजकुमारी रीमा के पास खेल से संबंधित कई विभाग हैं. वह अमेरिका में सऊदी अरब का प्रतिनिधित्व करती हैं और ऐसा करने वाली वह पहली महिला हैं, सऊदी ओलंपिक और पैरालंपिक कमेटी की प्रमुख भी हैं और अंतर्राष्ट्रीय ओलंपिक समिति की भी सदस्य हैं.

राजकुमारी रीमा खेल कूटनीति, अंतर्राष्ट्रीय संबंधों और वैश्विक खेल मंच पर सऊदी अरब को स्थापित करने में बड़ी भूमिका निभाती हैं. सऊदी अरब 2034 में पुरुष फुटबॉल विश्व कप की मेजबानी करने वाला है. इससे पहले वह तमाम तैयारियों में जुटी हैं.

नेशनल यूनिवर्सिटी ऑफ सिंगापुर के मिडिल ईस्ट इंस्टीट्यूट के सीनियर फेलो और ‘द टर्बुलेंट वर्ल्ड ऑफ मिडिल ईस्ट सॉकर’ के लेखक जेम्स डोर्सी कहते हैं, “वह सऊदी अरब को उसी छवि में पेश करती हैं जैसा [क्राउन प्रिंस] मोहम्मद बिन सलमान चाहते हैं कि सऊदी अरब को पेश किया जाए.”

राजकुमारी दूरदर्शी हैं, सामाजिक रूप से उदार हैं, महिला स्वतंत्रता की वकालत करती हैं और मोहम्मद बिन सलमान की उम्मीदों पर खड़ी उतरी हैं. यही वजह है कि प्रिंस ने उन्हें अमेरिका का राजदूत बना रखा है. खेल डिप्लोमेसी में सऊदी अरब का उनका प्रतिनिधित्व सराहनीय है.

राजकुमारी रीमा राजनीतिक गतिविधियों से दूर रहना पसंद करती हैं. 48 वर्षीय बंदर बिन सुल्तान अल-सऊद की बेटी हैं. वह अपने पिता आठ संतानों में एक हैं और अपनी पढ़ाई उन्होंने अमेरिका में ही की है. वाशिंगटन यूनिवर्सिटी से उन्होंने म्यूजियम स्टडीज में ग्रेजुएशन की डिग्री हासिल की. खेल में अपने प्रभाव से पहले उन्होंने हाई-एंड रिटेल में काम किया है.

राजकुमारी खेल जगत में महिलाओं के एंट्री की भी वकालत करती हैं. उनकी अगुवाई में महिलाएं फुटबॉल स्टेडियम भी जा सकती हैं, जिसे वह महिलाओं के लिए एक प्रगति मानती हैं. वह कहती हैं महिलाएं सिर्फ खेलने तक ही सीमित नहीं रहेंगी, बल्कि वह बोर्ड लेवल, एडवाइजरी लेवल तक महिलाओं की एंट्री कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं.

सोर्स :- ” TV9 भारतवर्ष    

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