18 अगस्त 2022 | दुनिया में अधिकांश लोग जन्म और मृत्यु में ही उलझे रहते हैं। उनके लिए ये दो चीजें ही महत्वपूर्ण होती हैं। वे भूल जाते हैं कि इन दोनों के बीच जीवन भी होता है। जन्म-मृत्यु के बीच जो जीवन घटता है, उसे जानना हो तो एक यात्रा करना पड़ेगी। अपने ही भीतर मुड़कर शरीर से आत्मा की ओर चलना पड़ेगा। गीता के 13वें अध्याय में भगवान कृष्ण ने शरीर को क्षेत्र और उसे जानने वाले को क्षेत्रज्ञ यानी आत्मा कहा है।
वे कहते हैं शरीर अलग है, आत्मा अलग है, और इसी आत्मा के आगे परमात्मा है। गीता के विचार अनुभवजन्य हैं। इसी पर केंद्रित नागपुर में आज शाम 7 बजे एक विशेष कार्यक्रम हो रहा है ‘एक शाम विचारों के नाम’। सुभारती टीवी चैनल के माध्यम से देश-दुनिया के करोड़ों लोग एक साथ, एक ही समय हनुमान चालीसा का महापाठ करेंगे।
मंत्रों में पॉजिटिविटी की बहुत बड़ी ताकत होती है। हनुमान चालीसारूपी मंत्र हमें समझाता है जीवन क्या है, इसे जान लें और जीएं। इस अनूठे कार्यक्रम से अवश्य जुड़ते हुए आत्मा को जानने का प्रयास करें, ताकि जीवन को जान सकें।
सोर्स :- “दैनिक भास्कर”